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AMU: जेएनएमसी प्रोफेसर का काम सीबीएसई की पाठ्य पुस्तक में शामिल

AMU: जेएनएमसी प्रोफेसर का काम सीबीएसई की पाठ्य पुस्तक में शामिल

Prof Syed Moied Ahmed

अलीगढ़, 6 जुलाईः अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय के जवाहरलाल नेहरू मेडिकल कॉलेज के एनेस्थिसियोलॉजी विभाग के प्रोफेसर सैयद मोइद अहमद के कार्य को देश के सबसे बड़े केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) द्वारा प्रकाशित पाठ्य पुस्तक में शामिल किया गया है।

उनके शोध पत्र कंप्रेशन-ओनली लाइफ सपोर्ट फार कार्डियोपल्मोनरी रिससिटेशन बाई ले पर्सन आउट साइड द हास्प्टिल के अंशों को सीबीएसई के कक्षा 9 के विज्ञान पाठ्यक्रम में शामिल किया गया है। एल्गोरिदम और आरेखों के साथ उनके शोध पत्र का एक भाग अब नौवीं कक्षा की विज्ञान पाठ्य पुस्तक के पृष्ठ 91 से 94 पर पढ़ा जा सकेगा।

प्रोफेसर अहमद ने कहा कि सीबीएसई ने नौवीं कक्षा के लिए मौजूदा जीव विज्ञान पाठ्यक्रम को संशोधित किया है और पाठ्यक्रम के घटकों में अनिवार्य पाठ के रूप में पढ़ाए जाने वाले कम्प्रेशन ओनली लाइफ सपोर्ट पर मेरे कार्य को शामिल करने का निर्णय लिया है।

उन्होंने कहा कि विज्ञान पुस्तक में एल्गोरिथम में उनका नाम आकृति के नीचे पहले लेखक के रूप में लिखा गया है और अन्य लेखकों के नाम और उस पत्रिका का नाम भी है जहां से इसे लिया गया है।

उन्होंने कहा कि यह एक महत्वपूर्ण कौशल है और स्कूली छात्रों सहित प्रत्येक नागरिक को इसे सीखना चाहिए। कोई नहीं जानता कि यह हुनर कब काम आ जाए। किसी ऐसे व्यक्ति के लिए जो बेहोश है और कार्डियो-पल्मोनरी अरेस्ट से पीड़ित हैसीपीआर प्रदान करने का मतलब पीड़ित को जीवन प्रदान करना है।

उन्होंने कहा कि यह अंततः भविष्य में सीपीआर दरों में वृद्धि के आधार पर अस्पताल से बाहर कार्डियक अरेस्ट से जुड़ी उच्च मृत्यु दर को कम करने में सहायक होगा।

 

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